गायत्री शक्ति पीठ के द्वितीय दिवस की संगीतमय कथा रसपान से सराबोर श्रद्धालु झूमते नजर आए

शिव महापुराण भगवान महामृत्युंजय की कथा है जिसके भाव पूर्ण से श्रवण और आत्मसात करने से ही आरोग्यता प्राप्त होती है… व्यास आचार्य राजेंद्र महाराज
सक्ती – शिव महापुराण की कथा भगवान महा मृत्युंजय की कथा है जिसके भाव पूर्ण से श्रवण और आत्मसात करने से ही हमें आरोग्यता प्राप्त होती है यह बात कहते हुए व्यास आचार्य पंडित राजेन्द्र महाराज ने कहा कि धार्मिक एवम आध्यात्मिक ग्रंथ हमारे साक्षात गुरु है जिसके स्वाध्याय से हमारे जीवन में सुख शांति और समृद्धि की प्राप्ति होती है।
आज शिव महापुराण कथा के द्वितीय दिवस पर गायत्री शक्ति पीठ परिसर में माता गायत्री के पवित्र आभा के साथ शिवमय वातावरण में संगीतमय कथा से श्रद्धालु भक्तिभाव से सराबोर झूमते नजर आ रहे थे।
गायत्री मंदिर परिसर में शिव महापुराण यज्ञ के भव्य आयोजन में नारीशक्तियों की गरिमामय सहभागिता से आयोजन की महत्ता व सार्थकता साफ दिखाई दे रही थी। निश्चित रुप से पवित्र श्रावण मास में एक आध्यात्मिक केंद्र में सार्वजनिक आयोजन नगर में एक नया संदेश देता दिखाई दे रहा है कि समय समय पर कथाओं के सामूहिक आयोजन का सकारात्मक प्रभाव सर्व समाज में नजर आता है।
इस संबध में अपनी बात रखते हुए भागवत प्रवाह के संरक्षक चितरंजय पटेल ने कहा कि इस महत्वपूर्ण आयोजन का सूत्रपात कर गायत्री परिवार ने अंचल में एक नया इतिहास रच दिया है जिसके लिए गायत्री शक्ति पीठ का प्रयास सराहनीय होने के साथ अनुकरणीय है ।