
सक्ती । नगर के युवावर्ग नशे की गिरफ्त मे इस कदर डुब चुके है कि न तो भविष्य की परवाह है और न ही जीवन की चाह, शराब के नशेड़ी तो हर तरफ है ही साथ ही इन दिनों प्रतिबंधित मेडिकल नशे के समान नगर में धड़ल्ले से बिक्री हो रही हैं, जिसके खरीददार 14-18 वर्ष के युवावर्ग अपनी भविष्य खराब करने मे लगे हुए हैं वही कुछ महीनों मे आस पास क्षेत्र में सड़क दुर्घटनाओं मे इजाफा हुआ जिसका कही न कहीं ये सुध खो देने वाले नशे ही कारण है, वही प्रतिबंधित गांजा भी शहर में युवाओ को आसानी से मिल जा रहा है, जिससे सस्ता नशा कर अपने भविष्य से खिलवाड़ करने मे लगे हुए हैं, वही क्षेत्र की पुलिस प्रशासन के नाक तले नशा व्यापारी माल छापने में लगे हुए हैं, जबकि जिला बनने के बाद इस तरह की गैर कानूनी कार्यो मे कमी आने के बजाय इजाफा होता दिख रहा है, इस प्रकार के प्रतिबंधित नशे की सामाग्री युवावर्ग को आसानी से मिल जा रही है, जबकि पुलिस प्रशासन जान कर भी अनजान बन युवावर्ग को नशे की आदि बनने से रोकने मे असफल है।